UPSC NOTES:लाल सागर संकट ने वैश्विक व्यापार और भारत के समुद्री हितों को किन कारकों द्वारा प्रभावित किया है? परीक्षण कीजिये।

UPSC NOTES:लाल सागर संकट ने वैश्विक व्यापार और भारत के समुद्री हितों को किन कारकों द्वारा प्रभावित किया है? परीक्षण कीजिये।

परिचय

UPSC NOTES:महत्त्वपूर्ण समुद्री अवरोध बिंदु लाल सागर में हाल के वर्षों में तनाव में वृद्धि देखी गई है, यमन में हौथी विद्रोहियों ने वाणिज्यिक शिपिंग के लिये बहुत बड़ा खतरा उत्पन्न किया है। इस संकट का वैश्विक व्यापार और भारत के समुद्री हितों पर दूरगामी प्रभाव पड़ा है।  

लाल सागर संकट ने वैश्विक व्यापार और भारत के समुद्री हितों पर कई महत्वपूर्ण प्रभाव डाले हैं। सबसे पहले, यह क्षेत्र व्यापारिक मार्गों के लिए एक महत्वपूर्ण बिंदु है, जहाँ से तेल और अन्य वस्तुएँ गुजरती हैं। संकट के कारण, समुद्री सुरक्षा खतरे में पड़ गई है, जिससे व्यापार में बाधाएँ उत्पन्न हुई हैं।

भारत के लिए, लाल सागर में उत्पन्न अस्थिरता ने उसके समुद्री हितों को सीधे प्रभावित किया है। भारतीय नौसेना को समुद्री सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए अधिक सक्रिय भूमिका निभानी पड़ रही है। इसके साथ ही, भारत के व्यापारिक जहाजों पर हमलों का खतरा बढ़ गया है, जिससे भारतीय व्यापारियों को आर्थिक नुकसान हो सकता है।

अंतरराष्ट्रीय स्तर पर, संकट ने वैश्विक आपूर्ति श्रृंखलाओं को भी बाधित किया है, जिससे विभिन्न देशों में व्यापारिक गतिविधियाँ प्रभावित हुई हैं। भारत को चाहिए कि वह इस संकट का सामना करने के लिए मजबूत रणनीतियाँ अपनाए, जैसे कि बहुपरक समुद्री सहयोग और सुरक्षा तंत्र विकसित करना।

इस प्रकार, लाल सागर संकट ने वैश्विक व्यापार के प्रवाह और भारत के समुद्री हितों पर महत्वपूर्ण असर डाला है, जिसे समझना और समर्पित कार्रवाई करना आवश्यक है।

निष्कर्ष

लाल सागर संकट का वैश्विक व्यापार और भारत के समुद्री हितों पर गंभीर प्रभाव पड़ा है। आपूर्ति शृंखलाओं में व्यवधान, माल ढुलाई दरों में वृद्धि और ऊर्जा सुरक्षा संबंधी चिंताओं ने विश्व भर के व्यवसायों एवं सरकारों के लिये महत्त्वपूर्ण चुनौतियाँ खड़ी कर दी हैं। भारत ने अपनी नौसेना की उपस्थिति बढ़ाकर, कूटनीतिक प्रयासों में शामिल होकर और अपने व्यापार मार्गों में विविधता लाकर इसका प्रत्युत्तर दिया है।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *